तीन साल पुराने हत्याकांड में आजीवन कारावास की सजा, अदालत ने कहा “हत्या समाज की अंतःचेतना को झकझोर देती है”
समाचार गढ़, 1 नवम्बर 2025, श्रीडूंगरगढ़। तीन वर्ष पुराने चर्चित लखासर हत्याकांड में अपर सेशन न्यायालय श्रीडूंगरगढ़ ने शनिवार को बड़ा फैसला सुनाते हुए आरोपी डालूराम पुत्र आदूराम निवासी लखासर को आजीवन कारावास और ₹35 हजार रुपये के अर्थदंड से दंडित किया। यह मामला 22 मई 2022 का है, जब लखासर निवासी मालाराम पुत्र पीरदान ने थाना सेरूणा में रिपोर्ट दर्ज करवाई थी कि उसका बेटा कुशलाराम, जो गांव भोजास में ट्यूबवेल काश्त पर काम करता था, सुबह करीब छह बजे मृत पाया गया। उसका शव बेनिसर और भोजास के बीच सड़क पर पड़ा मिला था। पुलिस जांच में मामला हत्या का पाया गया। अभियोजन पक्ष की ओर से अपर लोक अभियोजक सोहन नाथ सिद्ध ने अदालत में 17 गवाहों के बयान और 41 दस्तावेजी साक्ष्य पेश करते हुए आरोपी को कठोरतम सजा देने की मांग की। वहीं परिवादी अधिवक्ता बजरंगलाल ज्याणी ने बताया कि सुनवाई के बाद एडीजे सरिता नौशाद ने आरोपी को दोषी करार दिया। अदालत ने अपने आदेश में कहा कि “हत्या जैसा जघन्य अपराध समाज की अंतःचेतना को झकझोर देता है और मानवीय संवेदनाओं के विरुद्ध होने के साथ सामाजिक व्यवस्था को भी प्रभावित करता है। ऐसे अपराधों में नरमी न्याय के साथ अन्याय होगा।”










