समाचार गढ़ 13मई 2024बीकानेर। भूमिगत जल का अंधाधुंध दोहन करने से भूमि की कोख तो सूख ही रही है। भविष्य में इसके भयावह परिणाम भूगर्भीय घटनाओं के रूप में भी देखने को मिल सकते हैं।
सहजरासर गांव की रोही में 27 दिन पहले 15 अप्रेल को अचानक जमीन धंसने से बने 110 फीट गहरे और 200 फीट व्यास का गड्डा बन गया था। भारतीय भू-वैज्ञानिक सर्वेक्षण (जीएसआइ) ने मौका देखकर जमीन धंसने का कारण अत्यधिक जल दोहन और कम बारिश से ग्राउंड वाटर रिचार्ज नहीं होना बताया है। इससे जमीन खोखली हो गई और मिट्टी नीचे चली गई। विस्तृत रिपोर्ट जारी की जानी शेष है। घटना के बाद पंजाब-हरियाणा और दिल्ली तक से लोग यहां आ रहे हैं। सहजरासर सरपंच आशादेवी ने बताया कि पंचायत की मदद से पास के खेत से कच्चा रास्ता बनाया है। बजट मिलने पर गड्ढे का भरवाकर दोबारा सड़क बनवाई जाएगी। उपखंड अधिकारी राजेन्द्र कुमार ने बताया कि जीएसआइ ने मौसम विभाग, भूजल विभाग, सैटेलाइट समेत कई साक्ष्य जुटाए हैं। प्रारंभिक रिपोर्ट में कहा कि भूजल रिचार्ज नहीं तथा नीचे की जमीन सख्त नहीं होने से ऊपर की मिट्टी धंसी है। इसे भौगोलिक घटना माना। जीएसआइ की विस्तृत रिपोर्ट अभी आनी है।
श्रीडूंगरगढ़ में विशाल रक्तदान शिविर का आयोजन, 588 यूनिट रक्त संग्रहित
समाचार गढ़, 14 सितम्बर। श्रीडूंगरगढ़ के जामा मस्जिद ग्राउंड में आयोजित विशाल रक्तदान शिविर में स्थानीय समाज के रक्तदाताओं ने भरपूर उत्साह दिखाया, जहां तीन प्रमुख रक्तसंग्रहण दलों ने मिलकर…