समाचार गढ़, श्रीडूंगरगढ़। मोमासर के प्रख्यात चित्रकार बजरंग सुथार के द्वारा आयोजित सप्त दिवसीय श्री मद्भागवत के पंचम् दिन दसवें स्कंध की कथाओं में भगवान श्रीकृष्ण की लीलाओं का रम्य वर्णन किया गया ।
कथावाचक संतोष सागर महाराज ने कहा कि भगवान श्रीकृष्ण की लीलाएं नीरस संसार में रस भरनेवाली है। उन्हीं लीलाओं के कारण समूचे ब्रज क्षेत्र का एक एक कण आज भी पवित्र, जागृत तथा लीलामय है।
रसमय कथा सुनाते हुए युवा संत ने कहा कि हर गृहस्थ को बाल्यावस्था में ही अपने बालक में संस्कार भरने के सभी प्रयास करते रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि राम ने अपनी लीलाएं स्वभाव से कीं जबकि श्री कृष्ण की लीलाएं प्रभाव की हैं। कृष्ण माखनलीला कर कहना चाहते हैं कि जिसका हृदय मक्खन जैसा है, भगवान उसको चुराते हैं। भगवान की लीलाओं के पीछे लोक कल्याण का भाव रहता है।
आज की कथा में महाराज श्री ने कहा कि हमें पौराणिक कथाओं से प्रेरणा लेनी चाहिए। गोवर्धन पूजा की लीला हमें गाय, पर्वत, पृथ्वी पूजा का संदेश देती है। मंच संचालन करते हुए डाॅ चेतन स्वामी ने कहा कि मोमासर ऐसा आदर्श गांव है, जो पर्यावरण के प्रति सदैव सचेष्ट रहता है। गांव ने दो वर्षों में एक लाख पेड़ लगाए हैं। आज की कथा के उपरांत अनेक अतिथियों का सम्मान किया गया। वहीं बहिन सुमनदेवी तथा लीलादेवी ने अपने हस्त निर्मित वस्तुओं को भेंटकर महाराज श्री का सम्मान किया।
श्रीडूंगरगढ़-बीदासर रोड पर सड़क हादसा, बाइक सवार गंभीर घायल
समाचार गढ़, 14 दिसम्बर 2024। श्रीडूंगरगढ़ से बीदासर जाने वाले मार्ग पर एक दर्दनाक सड़क दुर्घटना हुई, जिसमें बाइक सवार युवक गंभीर रूप से घायल हो गया। जानकारी के अनुसार,…