मोमासर में सैंकड़ो युवाओं ने लिया गीता पढ़ने का संकल्प
समाचार-गढ़, श्रीडूंगरगढ़। ओमकार सेवा संस्थान चेरिटेबल ट्रस्ट के तत्वावधान में आयोजित तहसील स्तरीय सनातन धर्म यात्रा के प्रथम पड़ाव के अंतर्गत गांव मोमासर मे आयोजित श्री मद भागवत कथा में भाई श्री संतोष सागर जी महाराज ने द्वितीय दिवस बोलते हुए कहा संसार की कथा में जीवन की व्यथा भरी होती है और भगवान की कथा सुनने से जीवन की व्यथा मिट जाती है पर दुर्भाग्य है कि हमारी रुचि दुनिया की व्यथा में होती है।
भागवत कथा भगवान की कथा भक्तों की कथा है जिसने भक्त प्रहकध ,ध्रुव चरित्र, उद्धव चरित्र, गोपी गीत है भागवत कथा में कौन हूं ये संसार क्या है परमात्मा क्या है ये जानने की कथा है।
भगवत के प्रथम श्लोक में लिखा है हम सब परमात्मा से बने है जैसे सोने से बने गहने में हर जगह सोना है वैसे ही हम भगवान से बने है और उसी के सब अंश है। महाराज ने कहा प्रमात्मा को जान लेना ही खुद को जानना है। भागवत कथा जीव जगत जगदीश की कथा है। भाई श्री ने आज भगवत कथा का उल्लेख करते हुए सुखदेव जी व राजा परीक्षित की कथा का उल्लेख किया.
आज प्रातः विश्व कल्याणार्थ यज्ञ किया गया उसके बाद सनातन धर्म यात्रा का रथ गायत्री विद्यालय पहुंचा जहां भाई श्री संतोष सागर जी महाराज ने सेंकड़ों युवाओं को प्रेरणादाई प्रवचन व निशुल्क गीता प्रदान की।
उल्लेखनीय है भाई श्री संतोष सागर जी महाराज का संकल्प है सनातन धर्म यात्रा के माध्यम से राजस्थान के 4 लाख बच्चों के वेद पुराण व धर्म का प्रवचन व निशुल्क गीता प्रदान कर चुके है
दूसरे दिन की कथा पंडाल भक्तों से सरोबार हुआ। सरपंच जुगराज संचेती विपिन शर्मा विद्याधर शर्मा लक्ष्मण सुथार गिरधारी सिंह व बहुत सारे भक्त इस धर्म कार्य मे जुड़े हुवे है.